ए गए हुए वक्त सुनो तुम एक बार लोट आओ
जीना है फिर से तुम एक बार लोट आओ
जो बीत रहा है वो किसी के मन का ना है
जो जी रहे हम वो हमें अब कभी जीना ना है
कि जी लूं तुम्हे खुल कर तुम मुझे में समाओ
ए गए हुए वक्त सुनो तुम एक बार लोट आओ
जो समा था कल वो क्यों आज ना रहा
जो व्यस्थ थे क्यों उनपे कोई काज ना रहा
जिन हवाओ में उड़ना था क्यों उनसे ही खतरा है
घुटता है ये जन जीवन क्यों बोलो कतरा कतरा है
इस घुटन का कोई राज होतो अब तो कह जाओ
ए गए हुए वक्त सुनो तुम एक बार लोट आओ
दुनिया ने अपने पापो की बहुत काट ली सजा
दो माफी दो अब संसार को जो हो तुम्हारी रजा
घुटती हुई सांसों को तुम अब आजाद कर दो
खुल कर जी पाए दुनिया को अब आबाद कर दो
जो गलतियां हमारी तुम अब माफ कर पाओ
तो ए गए हुए वक्त सुनो तुम एक बार लोट आओ
ए गए हुए वक्त सुनो तुम एक बार लोट आओ
- Swapna Sharma
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